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‘‘सड़क एवं सड़क जैसी परिस्थितियों में रहने वाले बच्चों के सर्वेक्षण, रेस्क्यू एवं पुनर्वास  अभियान”

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IRN.24…

सूरजपुर/IRN.24… सड़क एवं सड़क जैसी परिस्थितियों में रहने वाले बच्चों के सर्वेक्षण, रेस्क्यू एवं प्रभावी पुनर्वास  हेतु छ0ग0 शासन महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा जारी अधिसूचना ‘‘बाल सक्षम‘‘ जारी की गयी है। जिसमें कलेक्टर रोहित व्यास के निर्देशन एवं मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत के मार्गदर्शन में जिले में सड़क एवं सड़क जैसी परिस्थितियों में निवासरत बच्चों एवं मादक पदार्थाे का सेवन करने वाले बच्चों की पहचान हेतु सर्वेक्षण, रेस्क्यू एवं पुनर्वास  हेतु विशेष सघन अभियान दिनांक 15 जुलाई से 14 अगस्त तक कार्ययोजनानुसार संचालित किया जा रहा है। बाल सक्षम नीति अनुसार सड़क जैसी परिस्थिति में रहने वाले बालकों की श्रेणी में ऐसे बच्चे आते हैं जो सड़क जैसी परिस्थितियों में, बिना किसी सहयोग के, अकेले रहता है, सड़क जैसी परिस्थितियों में अपने परिवार के साथ रहता है। और दिन में सड़क जैसी परिस्थितियों में और रात को अपने परिवार, जो पास की झुग्गी/झोपड़ियों में रहते है, के साथ घर में रहता है।

ऐसे बच्चे अपनी उत्तजीविता, भोजन, पानी, वस्त्र, आश्रय एवं संरक्षण हेतु प्रतिदिन विभिन्न प्रकार के संघर्षों एवं चुनौतियों का सामना करते है। इन बच्चों के चिन्हांकन, संरक्षण प्रदान किये जाने तथा उनको शिक्षा एवं अन्य जरूरी सुविधाएं उपलब्ध कराने। साथ ही उनके परिवारों को भी शासन की विभिन्न योजनाओं का लाभ दिलाते हुए उनके प्रशिक्षण एवं रोजगार की व्यवस्था की जाएगी। इन बच्चों के चिन्हांकन, संरक्षण एवं पुनर्वास हेतु राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग द्वारा जारी एसओपी एवं एक युद्ध नशे के विरुद्ध (ज्वाइंट एक्शन प्लान) अनुसार चरणबद्ध रूप से कार्यवाही की जा रही है। जिसमें बालकों का चिन्हांकन, बालकों की सामाजिक पृष्ठभूमि की जानकारी प्राप्त करना, बाल कल्याण समिति के समक्ष प्रस्तुतीकरण इत्यादि शामिल है। जिलें में सर्वेक्षण, रेस्क्यू एवं पुनर्वास  हेतु सभी विकासखण्ड मुख्यालय, नगरपालिका/नगर पंचायत क्षेत्र के मुख्य बाजार क्षेत्र, बस स्टैण्ड, शहर के चौक चौराहे, हाई मुख्य सड़क मार्ग क्षेत्र, रेल्वे स्टेशन एवं अन्य स्थानों पर बाल सक्षम नीति के तहत हॉट स्पॉट चिन्हॉकित किया गया है। इन हॉट स्पॉट में गठित दल द्वारा जाकर सर्वेक्षण, रेस्क्यू का कार्य किया जा रहा है। जिसमें जिले के रामानुजनगर मुख्यालय के चौक चौराहों, बाजारों में सर्वेक्षण का कार्य किया गया। इसी तरह तैयार विभागीय रोस्टर अनुसार जिले के अन्य स्थानों, बाजारों में भी सर्वेक्षण, रेस्क्यू का कार्य किया जावेगा। जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास विभाग  द्वारा जन समुदाय से अपील की गयी है कि सड़क जैसी परिस्थिति में रहने वाले बालकों की जानकारी विभाग को देवे ताकि उस बच्चें का भविष्य सवांरा जा सके।

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